जम्मू-कश्मीर विधानसभा में पहलगाम आतंकी हमले की निंदा: मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने कहा- “हमारे पास मृतकों के परिवारों से माफी मांगने के लिए शब्द नहीं हैं”, आतंकवाद को हराने के लिए जनता के समर्थन की जरूरत

श्रीनगर, 28 अप्रैल 2025 जम्मू-कश्मीर विधानसभा में पहलगाम में हुए आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया है। इस हमले के बाद की स्थिति पर चर्चा के लिए आयोजित विशेष सत्र में मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने भावुक होकर कहा कि यह घटना हमें गहरे तौर पर प्रभावित करती है। उन्होंने बताया कि इस हमले ने अनेक परिवारों को नुकसान पहुंचाया है, जहां किसी ने अपने पिता, बेटे या भाई को खोया है। विशेष रूप से, उन्होंने उस नेवी अफसर की विधवा और उसके छोटे बच्चे का जिक्र किया, जिसने अपने पिता को खून में लथपथ देखा।
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने कहा कि सरकार ने सैलानियों को कश्मीर आने का आमंत्रण दिया था, लेकिन अब उन्हें वापस भेजने की स्थिति नहीं है। उन्होंने कहा, “हमारे पास मृतकों के परिवारों से माफी मांगने के लिए शब्द नहीं हैं।”
सदन में खड़े होकर मुख्यमंत्री ने हमले में शहीद हुए सभी व्यक्तियों के नाम लिए और कहा कि यह हमला सिर्फ कश्मीर पर नहीं, बल्कि पूरे देश पर हुआ है। उमर अब्दुल्ला ने बताया कि यह हमला 21 वर्षों में कश्मीर में हुए सबसे बड़े हमलों में से एक था।
उन्होंने कहा, “इस हमले ने कश्मीर के दर्द को और भी गहरा कर दिया है।” उमर अब्दुल्ला ने यह भी कहा कि कश्मीर के लोग इस हमले के खिलाफ हैं और इसे पूरे राज्य के लोगों की आवाज माना जा सकता है।
इस दौरान, उन्होंने आतंकवाद के खिलाफ संघर्ष में जनता के समर्थन को अहम बताया। उन्होंने कहा, “अगर लोग हमारे साथ हैं, तो हम आतंकवाद को पराजित कर सकते हैं।”
मुख्यमंत्री ने आतंकवाद को समाप्त करने के लिए बल के साथ-साथ जनता के सहयोग की आवश्यकता पर जोर दिया और कहा, “हम आतंकवाद को केवल बल के माध्यम से नियंत्रित कर सकते हैं, लेकिन उसे समाप्त करना हमारे लिए सबसे महत्वपूर्ण है।”
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि वर्तमान परिस्थिति में राज्य का दर्जा मांगने का उचित समय नहीं है, लेकिन कश्मीर की पुनर्निर्माण प्रक्रिया को प्राथमिकता दी जाएगी।