छत्तीसगढ़
Trending

बड़ी ख़बर: अग्रवाल और सिंधी समाज की भावनाएं आहत! अमित बघेल के विवादित बयान पर FIR, रायपुर पुलिस ने दर्ज किया केस

रायपुर, 28 अक्टूबर 2025 – रायपुर पुलिस ने अमित बघेल के खिलाफ Section 299 BNS के अंतर्गत मामला दर्ज किया है। मामला इस प्रकार है—


घटना का सार

  • शिकायतकर्ता अग्रवाल सभा रायपुर के अध्यक्ष विजय कुमार अग्रवाल ने आरोप लगाया है कि उन्होंने दिनांक 27-10-2025 को रायपुर के सदर बाजार स्थित पार्षद मुरली शर्मा के घर बैठे हुए एक वायरल सोशल-मीडिया वीडियो देखा जिसमें अमित बघेल ने वक्तव्य देते हुए अग्रवाल समाज के महाराजा अग्रसेन, स्व. डॉ. श्याम प्रसाद मुखर्जी, स्व. दीनदयाल उपाध्याय एवं सिंधी समाज के आराध्य देवता झूलेलाल के संबंध में कथित अपमानजनक एवं धार्मिक भावनाओं को आहत करने वाले शब्द प्रयोग किए।
  • शिकायत में यह कहा गया है कि उक्त वक्तव्य वीडियो के माध्यम से प्रसारित हुआ है जिससे अग्रवाल एवं सिंधी समाज की धार्मिक-सामाजिक भावनाएं गहरा ठेस पहुँची हैं।
  • शिकायतकर्ता ने अनुरोध किया है कि मामला संज्ञान में लेते हुए अमित बघेल के खिलाफ उचित कानूनी कार्रवाई की जाए, अन्यथा समाज द्वारा उग्र आंदोलन की संभावना जताई गई है।

कानूनी प्रावधान

  • Section 299 of the Bharatiya Nyaya Sanhita, 2023 (BNS) के अनुसार— “Whoever, with deliberate and malicious intention of outraging the religious feelings of any class of citizens of India, by words either spoken or written, or by signs or by visible representations or through electronic means or otherwise, insults or attempts to insult the religion or the religious beliefs of that class, shall be punished with imprisonment of either description for a term which may extend to three years, or with fine, or with both.”
  • यह अपराध संज्ञेय (cognizable) तथा गैर-जमानती (non-bailable) माना गया है।
  • इसे धर्म संबंधी अपराधों वाले अध्याय (Chapter XVI) में रखा गया है, जिसमें धार्मिक भावनाओं या धार्मिक स्थल-संस्थान के खिलाफ की गई जानबूझकर अमर्यादित कार्रवाइयां शामिल हैं।

आगे की प्रक्रिया एवं संभावित असर

  • शिकायत के आधार पर पुलिस ने मामला पंजीबद्ध कर विवेचना शुरू कर दी है।
  • यदि अभियोजन पक्ष साबित कर पाता है कि वक्तव्य में “जानबूझकर एवं दुर्भावनापूर्ण” इरादा था और किसी वर्ग की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाई गई थी, तो आरोपी को तीन वर्ष तक की जेल, जुर्माना या दोनों हो सकते हैं।
  • यह मामला छत्तीसगढ़ में समुदाय-संबंधित संवेदनशीलता को फिर से सामने ला रहा है, विशेषता जब वक्तव्य सोशल मीडिया व वीडियो माध्यम से वायरल हुआ है।
  • शिकायतकर्ता ने आंदोलन का संकेत दिया है, जिससे संभावना है कि यह मामला सामाजिक और राजनीतिक रूप से भी ऊँचा उठ सकता है; स्थानीय प्रशासन व सरकार को सतर्क रहने की आवश्यकता है।

IMG 20250811 172353
Manish Tiwari

Show More

Related Articles

Back to top button