मानसून में बंद हुआ रेत उत्खनन: 15 अक्टूबर तक पूरे प्रदेश में रोक, निर्माण कार्यों पर पड़ेगा असर

रायपुर, 16 जून 2025
छत्तीसगढ़ में अब नदी-नालों से रेत का उत्खनन और परिवहन 15 अक्टूबर तक पूरी तरह से बंद कर दिया गया है। खनिज विभाग ने जानकारी दी है कि यह निर्णय केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के दिशा-निर्देशों के तहत लिया गया है, जिसमें मानसून अवधि में नदियों से खनन को प्रतिबंधित किया गया है।
खनिज साधन विभाग के अनुसार, इस रोक की अवधि 10 जून से 15 अक्टूबर तक निर्धारित की गई है। प्रदेश की सभी पर्यावरण स्वीकृत रेत खदानें भी इस दौरान बंद रहेंगी और किसी भी प्रकार का उत्खनन या परिवहन कार्य नहीं किया जा सकेगा।
रेत कारोबारियों का भंडारण, उपभोक्ताओं पर महंगाई की मार
इस रोक के चलते प्रदेशभर में निर्माण कार्यों को रुकावटों का सामना करना पड़ सकता है। कई रेत व्यवसायियों ने पहले से ही अधिक मात्रा में रेत का भंडारण कर लिया है, जिससे वे अब मनमाने दामों पर रेत बेच सकते हैं। इससे आम उपभोक्ताओं को मकान निर्माण या अन्य कार्यों के लिए अधिक कीमत चुकानी पड़ेगी।
अवैध भंडारण और खनन पर सख्त कार्रवाई
खनिज विभाग ने बताया कि राज्य के विभिन्न जिलों में अवैध रेत खनन, भंडारण और परिवहन पर नजर रखी जा रही है। जहां भी शिकायतें मिल रही हैं, वहां वाहनों को जब्त करने और जुर्माना वसूलने की कार्रवाई की जा रही है। सभी जिला कलेक्टर और खनिज अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे नियमित निरीक्षण करें और नियमों का पालन सुनिश्चित करें।
निर्माण गतिविधियां होंगी प्रभावित
रेत की आपूर्ति बाधित होने से राज्य के विभिन्न सरकारी और निजी निर्माण कार्यों पर असर पड़ सकता है। वैध रूप से रेत का भंडारण करने वालों से ही निर्माण एजेंसियों को महंगे दामों पर रेत खरीदनी पड़ेगी, जिससे लागत बढ़ने की आशंका है।
सरकार की अपील
राज्य सरकार ने आमजन और ठेकेदारों से अपील की है कि वे निर्धारित नियमों का पालन करें और अवैध रेत व्यापार से बचें। साथ ही विभागीय नियंत्रण के तहत ही रेत की खरीदी-बिक्री करें ताकि पर्यावरण और नदियों की पारिस्थितिकी को संरक्षित रखा जा सके।