Chhattisgarh

कदमो मे बिछाये फूल, टिकट न मिलने पर समर्थक ने खुद पर डाला केरोसिन, बगावत शुरू – अरुण साव

रायपुर। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सांसद अरुण साव ने कांग्रेस की दो सूचियों में 83 उम्मीदवार घोषित हो जाने पर तथ्यात्मक विश्लेषण करते हुए कहा है कि भाजपा ने अब तक 44 नए चेहरे जनता के सामने पेश किए हैं। यह आंकड़ा कांग्रेस से दोगुना है। भाजपा नए चेहरों के साथ छत्तीसगढ़ विकास की नई गाथा लिखने तैयार है। उनका कहना है कि कांग्रेस का टिकट वितरण उसके आंतरिक डर को दर्शा रहा है।

हम विपक्ष में हैं। हमने अनुभवी पुराने चेहरों के साथ -साथ उतनी ही संख्या में नए और संभावनाओं से भरे चेहरे सामने रखे हैं जबकि कांग्रेस ने अपने मुठ्ठी भर विधायकों को असफल मानकर उन्हें मैदान में उतारने का जोखिम नहीं उठाया। जबकि कांग्रेस के सभी विधायक नकारा साबित हुए हैं। हमने नई संभावनाएं तलाशी हैं लेकिन कांग्रेस ने मजबूरी में जो बदलाव किया है, वहां सिर फुटौव्वल मची है, वहां के नजारे देख कर कांग्रेस समझ गई है कि अब उसे सड़क पर आने से कोई नहीं बचा सकता।



प्रदेश भाजपा अध्यक्ष साव ने कहा कि कांग्रेस में बगावत हो गई है। रुझान आना शुरू हो गया है। जिन एजाज ढेबर ने प्रियंका गांधी के कदमों में फूल बिछाए, उनको टिकट न मिलने पर एक समर्थक ने खुद पर केरोसिन डाल लिया। हजार लोग नारेबाजी करके कांग्रेस नेतृत्व को गरिया रहे हैं। लोग कह रहे हैं कि प्रियंका के लिए इतने फूल बिछाने का क्या फायदा? अपने नेतृत्व को अपशब्द कह रहे है ?कांग्रेस के पाली तानाखार विधायक मोहित राम केरकेट्टा ने ऐलान कर दिया है कि वे कांग्रेस के खिलाफ चुनाव लड़ेंगे।

वे विधानसभा अध्यक्ष महंत को कोस रहे हैं। अंतागढ़ विधायक अनूप नाग, नवागढ़ विधायक गुरुदयाल बंजारे, रामानुजगंज विधायक बृहस्पत सिंह, मनेन्द्रगढ़ विधायक विनय जायसवाल बगावत पर आमादा हैं। बृहस्पत सिंह कह रहे हैं कि ये न जय हैं न वीरू हैं। ये रंगे सियार हैं। साफ है कि अभी तो ये अंगड़ाई है। कांग्रेस के भीतर आगे बहुत लड़ाई होने वाली है।

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष साव ने सवाल किया है कि कांग्रेस ने झीरम के दो शहीदों के साथ अन्याय क्यों किया? झीरम के शहीद योगेंद्र शर्मा की विधवा विधायक अनीता शर्मा और झीरम के शहीद मुदलियार के पुत्र उदय मुदलियार की टिकट काटी गई। जबकि प्रियंका गांधी कहती रही हैं कि झीरम के शहीदों के साथ न्याय होगा। क्या यही न्याय है?

प्रदेश भाजपा अध्यक्ष साव का मानना है कि बड़ी संख्या में विधायकों का टिकट काटना यह बताता है कि स्थानीय स्तर पर कांग्रेस के खिलाफ भयंकर आक्रोश है। हालांकि भारी विद्रोह के डर से कांग्रेस 18 विधायकों का टिकट ही काट पायी है जबकि 50 से अधिक की टिकट खतरे में थी। सबसे अलोकतांत्रिक बात यह है कि मंत्रियों ने मुख्यमंत्री के नेतृत्व में जमकर प्रदेश को लूटा है, वे सभी कायम रहे किंतु विधायकों को बलि का बकरा बना दिया।

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष साव का स्पष्ट मत है कि कांग्रेस के टिकट वितरण से यह साफ हुआ है कि कांग्रेस अब मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को बोझ समझती है। पहले ‘भूपेश भरोसा’ को ‘कांग्रेस भरोसा’ कहना, फिर टीएस सिंहदेव को कांग्रेस संसदीय बोर्ड में शामिल करना, उप मुख्यमंत्री बनाना, इन कदमों से ऐसा लगता है कि कांग्रेस का केंद्रीय नेतृत्व भूपेश बघेल के कारनामों के कारण कांग्रेस के खिलाफ आक्रोश को समझ कर मुद्दे को डायवर्ट करना चाहता है, जिसमें वह सफल नहीं होगा। जनता अब हाथ साफ करने का मूड बना चुकी है।

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सांसद अरुण साव का मानना है कि कांग्रेस की भूपेश बघेल सरकार अपनी अनीतियों के कारण राज्य की जनता का भरोसा अपने कार्यकाल के आरंभिक महीनों में ही खो चुकी थी। जैसे- जैसे समय बीतता गया, कांग्रेस सरकार के घपले, घोटाले, भ्रष्टाचार, कमीशनबाजी, माफियाराज, बेलगाम अपराध सामने आते गए। जनता ने पांच साल तक देखा कि कांग्रेस और करप्शन एक ही सिक्के के दो पहलू हैं।

जनता के साथ विश्वासघात और छल कांग्रेस का कल्चर है जो भूपेश बघेल की सरपरस्ती में कांग्रेस सरकार ने दिखाया है। भाजपा ने कांग्रेस के अन्याय के खिलाफ जनता के हित में लगातार संघर्ष किया है, जिससे परिवर्तन की हवा अब आंधी में बदल चुकी है। कांग्रेस का वृक्ष जड़ से हिल गया है। उसके ढेरों विधायकों का पत्ते की तरह उखड़ना इसकी गवाही दे रहा है। निश्चित तौर पर कांग्रेस धराशाई हो रही है।

Manish Tiwari

Show More

Related Articles

Leave a Reply

Back to top button